बिहार में इस समय शराबबंदी लागू है। खुलेआम शराब नहीं मिल रही है। चोरी छिपे शराब मिल भी गई तो पकड़े जाने पर दंड और जेल का भय बना रहता है। ऐसे में बड़ी संख्या में लोग शराब पीने के लिए झारखंड चले आते हैं। बिहार से सटे झारखंड के विभिन्न जिलों में यह नजारा आम है। झारखंड में शराबबंदी नहीं है। यहां से बड़े पैमाने पर अवैध शराब बिहार भी भेजी जाती है। कई बार यह पकड़ी भी जाती है। खैर यहां कहानी कुछ और है। बिहार के तीन युवक शराब पीने के लिए झारखंड आ रहे थे।
नदी तैर कर युवकों ने बचाई अपनी जान
झारखंड की सीमा में प्रवेश करने के लिए कोडिया गांव के यह तीनों युवक ढाढर नदी पार कर रहे थे। तीनों बोलेरो पर सवार थे। नदी पार करते समय अचानक बाढ़ आ गई। किसी तरह युवकों ने गाड़ी से निकलकर अपनी जान बचा ली, लेकिन पानी के तेज बहाव में उनकी बोलेरो बह गई। तीनों युवकों ने नदी तैर कर अपनी जान बचाई।
युवक बिहार के कोडिया गांव के निवासी
स्थानीय लोगों ने बताया कि युवक बिहार के कोडिया गांव के रहने वाले हैं। बोलेरो से अंबातरी गांव होते हुए ढाढर नदी पार कर झारखंड के परसातरी गांव में शराब पीने के लिए आ रहे थे। सुबह से हल्की-हल्की बारिश हो रही थी। नदी का जलस्तर भी धीरे-धीरे बढ़ रहा था। युवकों ने रिस्क लेकर नदी पार करने की कोशिश की। तभी अचानक नदी में तेज बाढ़ आ गई। बोलेरो डूबने लगी। किसी तरह गाड़ी से निकल कर युवक पानी में तैरने लगे। तैरते तैरते वह नदी के तट पर पहुंच गए। इस बीच गाड़ी पानी में बह गई।
नदी का जलस्तर कम होने की प्रतीक्षा
स्थानीय ग्रामीणों की मदद से तीनों युवक नदी से बोलेरो निकालने के प्रयास में जुटे हुए हैं। लेकिन नदी में जलस्तर अधिक होने और तेज बहाव के कारण अभी तक गाड़ी नहीं निकाल पाए हैं। अब तीनों युवक नदी का जलस्तर कम होने की प्रतीक्षा कर रहे हैं। ग्रामीणों का कहना है कि नदी का जलस्तर कम होने में दो तीन का समय लग सकता है। अगर बारिश तेज हो गई तो जलस्तर और अधिक बढ़ने की आशंका है।
झारखंड की भगहर पंचायत सुरक्षित जोन
मालूम हो कि बिहार में शराबबंदी के बाद से ही झारखंड की भगहर पंचायत शराबियों के लिए सुरक्षित जोन बन गई है। यहां बड़ी संख्या में बिहार के लोग नदी पार कर शराब पीने के लिए हर आते हैं। दिनभर यहां शराबियों को देखा जा सकता है। शराब पीने के बाद ये लोग पुन: बिहार लौट जाते हैं।