बता दें कि जिस फास्टैग से टोल नाके पर शुल्क लेने का सिस्टम है, उसी प्रकार स्मार्ट पार्किंग में भी गाड़ियों के फास्टैग से तय शुल्क की कटौती खुद ही स्कैनर मशीन के जरिए होगी। इससे जहां गाड़ी मालिकों को सहुलियत मिलेगी, वहीं पार्किंग जगह पर एक्सट्रा वसूली से लोग बच सकेंगे। फास्टैग से शुल्क कटौती केवल पार्किंग स्थान में ही होगी, क्योंकि जिओ फेंसिंग पूरे पार्किंग में की गई है।
अतिरिक्त वसूली को रोकने और तमाम सिस्टम में पारदर्शिता लाने के लिए फास्टैग से पार्किंग शुल्क लेने की योजना है। फिलहाल ट्रायल के रुप में स्मार्ट पार्किंग शुरू हुई है और रिसिप्ट देकर शुल्क लिया जा रहा है। शीघ्र ही फास्टैग से शुल्क लेने की सुविधा शुरू किया जाएगा। इस पूरे प्रणाली को लागू करने के लिए कंट्रोल रूम की आवश्यकता है। पटना नगर निगम के द्वारा एजेंसी को लोकेशन मिलने ही स्मार्ट पार्किंग में सुविधाओं को बढ़ाकर संचालन शुरू किया जाएगा। बहुत हद तक इस नई पार्किंग से शहर में अवैध पार्किंग और अतिक्रमण से राहत मिलेगी।
बता दें कि पटना में विद्युत भवन के सामने, डाकबंगला चौराहा में मारुति शोरूम के नजदीक, बीएन कॉलेज अशोक राजपथ, पेसू और पीएचईडी कार्यालय के नजदीक, श्रीकृष्ण पुरी पार्क के पास, पुल निर्माण निगम कार्यालय के पास, ईको पार्क के पास गेट-2 और 3 के सामने, माउंट कार्मेल स्कूल से लेकर पटना वीमेंस कॉलेज तक, सहदेव महतो मार्ग, मौर्या कांप्लेक्स, महाराजा कामेश्वर कांप्लेक्स के सामने, महावीर मंदिर के सामने, हड़ताली मोड़ से बोरिंग रोड चौराहा, ट्रक स्टैंड ट्रांसपोर्ट नगर 15, मुन्ना चौक से कुम्हरार टोली तक, राजेंद्र नगर ओवरब्रिज से सेंट्रल स्कूल तक, एसबीआई कंकड़बाग एवं टेंपू स्टैंड कंकड़बाग में स्मार्ट पार्किंग की सुविधा होगी।
स्मार्ट पार्किंग में फास्ट ट्रैक के माध्यम से शुल्क कटने के बाद गाड़ी मालिकों के मोबाइल नंबर पर मैसेज हो आएगा। फास्टैग में बैलेंस नहीं रहता है तो दूसरे माध्यमों से या फिर कैश में शुल्क का भुगतान किया जाएगा। राजधानी के स्मार्ट पार्किंग को संचालन का जिम्मा अमेजिंग इंडिया नाम की एजेंसी को दिया गया है। पार्किंग में शुल्क भुगतान नहीं करने वाले गाड़ी मालिकों के गाड़ी को ब्लैकलिस्ट किया जाएगा।